बिहार की सियासत में इन दिनों लालू परिवार के अंदरूनी समीकरण चर्चा का विषय बने हुए हैं। राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के मुखिया लालू प्रसाद यादव के परिवार में राजनीतिक विरासत की दावेदारी को लेकर भाइयों Tejashwi Yadav और Tej Pratap Yadav के बीच की तकरार किसी से छिपी नहीं है। इसी बीच, उनकी बहन Rohini Acharya ने एक ऐसा कदम उठाया है, जिसने पूरे सियासी गलियारों में हलचल मचा दी है। उनका यह कदम सिर्फ एक भावनात्मक संदेश है या फिर इसमें कोई गहरी राजनीतिक चाल छिपी है, यह बड़ा सवाल बन गया है।
रोहिणी आचार्य का चौंकाने वाला कदम
याद होगा, जब Tej Pratap Yadav को पार्टी और परिवार से कथित तौर पर बेदखल किया गया था, तब उनकी बहन Rohini Acharya ने पिता लालू प्रसाद यादव के फैसले का खुला समर्थन किया था। उन्होंने सार्वजनिक रूप से कहा था कि ‘पापा हमारे लिए भगवान हैं, परिवार और पार्टी की इज्जत सबसे ऊपर है।’ यह बयान तब आया था जब Tej Pratap Yadav से जुड़ी कुछ तस्वीरें वायरल हुई थीं। लेकिन अब लगभग चार महीने बाद, Rohini Acharya ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर Tej Pratap Yadav का एक वीडियो शेयर कर सबको चौंका दिया है। इस वीडियो में Tej Pratap Yadav अपने आवास पर लोगों को खाना खिलाते नजर आ रहे हैं। इस पोस्ट ने उन सभी अटकलों को फिर से हवा दे दी है कि क्या लालू परिवार के भीतर कुछ बदल रहा है?
सियासी गलियारों में नए सवाल
Rohini Acharya के इस वीडियो शेयर करने के बाद से Bihar politics में नए सवाल उठने लगे हैं। सबसे बड़ा सवाल यही है कि जिस बहन ने कभी अपने पिता के फैसले का समर्थन करते हुए Tej Pratap Yadav के निष्कासन पर हामी भरी थी, अब अचानक उनका भाई के प्रति यह सार्वजनिक समर्थन क्यों? क्या यह परिवार के भीतर की सुलह का संकेत है, या फिर इसके पीछे कोई बड़ी राजनीतिक रणनीति काम कर रही है? खासकर ऐसे समय में जब Tej Pratap Yadav अपने छोटे भाई Tejashwi Yadav के विधानसभा क्षेत्र राघोपुर में सक्रिय दिख रहे हैं और अप्रत्यक्ष रूप से उन पर निशाना साध रहे हैं, Rohini Acharya का यह कदम बेहद महत्वपूर्ण हो जाता है।
लालू परिवार का जटिल राजनीतिक जाल
बिहार की राजनीति के जानकार मानते हैं कि Lalu family politics हमेशा से ही जटिल रही है। परिवार के भीतर अक्सर सत्ता और प्रभाव को लेकर खींचतान चलती रही है। Tej Pratap Yadav को जब पार्टी और परिवार से बाहर किया गया था, तब उनकी बड़ी बहन मीसा भारती ने भी उनका साथ नहीं दिया था। उस समय परिवार में फूट साफ दिख रही थी। लेकिन अब जब Tej Pratap Yadav नए तेवर दिखा रहे हैं, तो Rohini Acharya का उनके समर्थन में आना राजनीतिक तौर पर कई संदेश दे रहा है। इसे इस बात का संकेत माना जा रहा है कि Rohini Acharya ने अपना रुख बदल लिया है और अब वह सार्वजनिक रूप से अपने बड़े भाई के साथ खड़ी दिख रही हैं।
तेजप्रताप और तेजस्वी के बीच की बढ़ती दूरी
पिछले कुछ महीनों में Tej Pratap Yadav और Tejashwi Yadav के बीच कड़वाहट साफ बढ़ी है। Tej Pratap Yadav ने कई बार सार्वजनिक रूप से Tejashwi Yadav पर निशाना साधा है, जिससे उनकी सक्रियता Tejashwi Yadav के लिए एक चुनौती बन गई है। विशेषज्ञों का मानना है कि Rohini Acharya द्वारा Tej Pratap Yadav का वीडियो शेयर करना सिर्फ पारिवारिक स्नेह दिखाने से कहीं बढ़कर एक सियासी संदेश है। यह Tej Pratap Yadav के राजनीतिक सफर को मजबूती देने और उनके पक्ष में माहौल बनाने का एक प्रयास माना जा सकता है। साथ ही, यह Tejashwi Yadav के लिए एक इशारा भी हो सकता है कि Lalu family politics में एक बड़ा हिस्सा Tej Pratap Yadav के साथ है।
लालू परिवार के अगले राजनीतिक कदम क्या होंगे?
लालू परिवार की राजनीति अब एक नए मोड़ पर आ खड़ी हुई है। एक ओर जहां Tejashwi Yadav महागठबंधन में अपना नेतृत्व कायम रखने की कोशिश कर रहे हैं, वहीं Tej Pratap Yadav अपने अलग रास्ते पर चलने की रणनीति बना रहे हैं। इस बीच Rohini Acharya के इस कदम ने परिवार में नई राजनीतिक बहस को जन्म दिया है। यह सिर्फ परिवारिक प्यार दिखाने से कहीं आगे, एक सियासी तौर पर भाई Tej Pratap Yadav को मजबूती देने की कोशिश मानी जा रही है। Tej Pratap Yadav और Tejashwi Yadav के बीच की दूरी के बीच Rohini Acharya का यह कदम चर्चा का विषय बन गया है। यह परिवार के अंदर बढ़ती खींचतान और राजनीति के नए समीकरणों को भी जाहिर करता है।
सुलह या सियासी चाल: क्या कहते हैं रोहिणी के कदम?
हालांकि, इस पूरे प्रकरण का एक और पहलू यह भी हो सकता है कि यह राजनीतिक पैंतरेबाजी नहीं, बल्कि परिवार के भीतर कहीं छुपे गहरे भावनात्मक द्वंद्व की अभिव्यक्ति हो। Tejashwi Yadav ने जहां महागठबंधन में अपनी छवि मजबूत की है, वहीं Tej Pratap Yadav कुछ हद तक अकेले पड़ते दिख रहे थे। ऐसे में भावनात्मक रूप से Tej Pratap Yadav के लिए यह समय चुनौतीपूर्ण रहा होगा। Rohini Acharya का यह कदम राजनीतिक दांव-पेंच से अलग एक भावनात्मक संदेश भी हो सकता है। बहरहाल, सियासी सवालों के साथ Bihar politics में इस परिवार के अंदर चल रही जंग अब किसी और मोड़ पर पहुंचती दिख रही है। Lalu family politics में Tej Pratap Yadav की सक्रियता और Rohini Acharya के समर्थन ने पूरे प्रकरण को नया रंग दे दिया है। जाहिर है, राजनीति के जानकार Tejashwi Yadav के लिए यह समय चुनौतीपूर्ण मान रहे हैं, क्योंकि सवाल फिर वही है कि क्या Tej Pratap Yadav के तेवर आगामी चुनावों में अपना असर दिखाएंगे? इस सवाल का जवाब तो आने वाला वक्त ही देगा, लेकिन एक बात तय है कि लालू परिवार की राजनीति ने बिहार में राजनीतिक सवालों को और पेचीदा बना दिया है!