हाल ही में इंग्लैंड के खिलाफ खेली गई रोमांचक टेस्ट सीरीज में भारतीय तेज गेंदबाज प्रसिद्ध कृष्णा ने अपनी गेंदबाजी से सभी को प्रभावित किया। हालांकि, इस सीरीज के पांचवें और निर्णायक टेस्ट के दौरान उनका सामना न केवल इंग्लैंड के बल्लेबाजों से हुआ, बल्कि मैदान पर उनकी तीखी बहस इंग्लैंड के दिग्गज बल्लेबाज जो रूट से भी हुई थी। भारत ने इस मैच को 6 रन से जीतकर सीरीज 2-2 से बराबर की थी, लेकिन दूसरे दिन रूट और कृष्णा के बीच हुई जुबानी जंग ने काफी सुर्खियां बटोरी थीं। अब प्रसिद्ध कृष्णा ने उस घटना के बारे में विस्तार से बताया है, जिससे यह साफ हुआ कि आखिर रूट इतने गुस्से में क्यों थे।
‘मैंने तो बस कहा था आप अच्छे लग रहे हो’, फिर क्यों बिगड़ी बात?
प्रसिद्ध कृष्णा ने बताया, ‘मुझे आज भी समझ नहीं आया कि रूट ने उस तरह की प्रतिक्रिया क्यों दी। मैंने तो बस इतना कहा था, ‘आप अच्छे लग रहे हो’, और बात गाली-गलौज तक पहुंच गई।’ कृष्णा ने खुलासा किया कि उन्होंने बाद में कई खिलाड़ियों से इस बारे में बात की, और खुद जो रूट से भी पूछा कि आखिर हुआ क्या था।
रूट ने बताई गुस्से की असली वजह: ‘मैं खुद को भी प्रेरित कर रहा था’
रूट ने प्रसिद्ध कृष्णा को जो जवाब दिया, वह काफी दिलचस्प था। कृष्णा के अनुसार, रूट ने कहा, ‘मुझे लगा तुमने गाली दी।’ इस पर कृष्णा ने स्पष्ट किया, ‘नहीं, मैंने तो ऐसा कुछ नहीं कहा था।’ रूट ने फिर अपनी बात रखते हुए कहा, ‘असल में मैं खुद को भी प्रेरित करने की कोशिश कर रहा था, इसलिए बात थोड़ी बढ़ गई।’ इस बातचीत से साफ हुआ कि मैदान पर अक्सर खिलाड़ियों के बीच होने वाली गरमा-गरमी कभी-कभी गलतफहमी का भी नतीजा हो सकती है, या फिर जीत के जुनून में खिलाड़ी खुद को प्रेरित करने के लिए ऐसी प्रतिक्रियाएं देते हैं।
खेल भावना और जीत का जुनून: प्रसिद्ध कृष्णा की सीख
इस घटना पर अपनी राय रखते हुए प्रसिद्ध कृष्णा ने खेल के प्रति अपने लगाव को दर्शाया। उन्होंने कहा, ‘मुझे इस खेल में यही सबसे ज्यादा पसंद है। मैं हमेशा से इसे इसी तरह खेलता आया हूं।’ उन्होंने आगे जोड़ा, ‘हर किसी को, खासकर उनके (रूट) जैसे दिग्गज को आज भी अपना सब कुछ झोंकते और टीम के लिए संघर्ष करते देखना हर किसी के लिए सीखने लायक है। आप मैच जीतने के लिए मैदान में जाते हैं। इसके लिए कभी-कभी आपको कौशल से ज्यादा की जरूरत होती है। उस सफर का हिस्सा बनने के लिए बहुत मानसिक दृढ़ता की जरूरत होती है।’ यह बयान खेल में मानसिक मजबूती और जीतने की इच्छा के महत्व को उजागर करता है।
29 वर्षीय इस तेज गेंदबाज ने इंग्लैंड में तीन टेस्ट मैच खेले और अपनी छाप छोड़ी। उन्होंने कुल 14 विकेट लिए, जिसमें सीरीज के पांचवें टेस्ट में उनके 8 विकेट का योगदान टीम की जीत में अहम रहा। प्रसिद्ध कृष्णा ने अब तक भारत के लिए छह टेस्ट मैचों में कुल 22 विकेट चटकाए हैं, जो उनकी प्रतिभा और भविष्य के लिए उनकी क्षमता को दर्शाता है। यह घटना भले ही मैदान पर हुई एक छोटी सी बहस थी, लेकिन इसने क्रिकेट के मैदान पर खिलाड़ियों के जुनून और प्रतिस्पर्धी भावना को एक बार फिर सामने ला दिया।