टेलीकॉम सेक्टर में क्रांति लाने वाली कंपनी जियो अब अपने बहुप्रतीक्षित आईपीओ (IPO) के साथ शेयर बाजार में धमाकेदार एंट्री करने के लिए तैयार है। रिलायंस इंडस्ट्रीज के मुखिया मुकेश अंबानी ने 48वीं एजीएम में जियो के आईपीओ पर मुहर लगा दी है। उन्होंने घोषणा की है कि यह आईपीओ 2026 की पहली छमाही में आ सकता है। बाजार विशेषज्ञों का अनुमान है कि यह भारत के शेयर बाजार के इतिहास का सबसे बड़ा आईपीओ साबित हो सकता है।
जियो IPO: रिकॉर्ड-ब्रेकिंग वैल्यूएशन और संभावित आकार
माना जा रहा है कि रिलायंस जियो का आईपीओ 154 बिलियन डॉलर या भारतीय मुद्रा में लगभग 13.5 लाख करोड़ रुपये के वैल्यूएशन पर आ सकता है। अगर इस अनुमान के मुताबिक, कंपनी अपनी 5 प्रतिशत हिस्सेदारी भी बेचती है, तो यह एक रिकॉर्ड-ब्रेकिंग आईपीओ बन सकता है। विशेषज्ञों का अनुमान है कि जियो के आईपीओ का आकार 58,000 करोड़ रुपये से लेकर 67,500 करोड़ रुपये तक हो सकता है।
ग्लोबल ब्रोकरेज हाउसेस का अनुमान
ग्लोबल ब्रोकरेज हाउसेस ने भी जियो के वैल्यूएशन को लेकर अपने अनुमान जारी किए हैं:
- Goldman Sachs: बुलिश केस में 154 बिलियन डॉलर।
- Jefferies: बुलियन मार्केट में 146 बिलियन डॉलर।
- Macquarie: 123 बिलियन डॉलर।
- Emkay: 121 बिलियन डॉलर।
विशेषज्ञों का मानना है कि कंपनी की लिस्टिंग 134 बिलियन डॉलर से 146 बिलियन डॉलर के वैल्यूएशन पर हो सकती है। अगर यह अनुमान सच साबित होता है, तो जियो का आईपीओ, हुंडई के आईपीओ के आकार (27,870 करोड़ रुपये) का दोगुना हो सकता है, जो अपने आप में एक बड़ी उपलब्धि होगी।
भारतीय बाजार में जियो की नई पहचान
आईपीओ में लिस्टिंग के साथ ही, जियो भारत की टॉप 5 कंपनियों की लिस्ट में शामिल हो सकता है। इसके साथ ही, यह अपनी करीबी प्रतिद्वंद्वी कंपनी भारती एयरटेल के मार्केट कैप (जो शुक्रवार तक के आंकड़ों के अनुसार 10.77 लाख करोड़ रुपये था) को भी पार कर सकता है, जिससे भारतीय टेलीकॉम बाजार में जियो की स्थिति और भी मजबूत होगी।
जियो प्लेटफॉर्म्स का दमदार वित्तीय प्रदर्शन
जियो प्लेटफॉर्म्स ने चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में शानदार वित्तीय प्रदर्शन किया है:
- नेट प्रॉफिट: 7,110 करोड़ रुपये रहा, जिसमें सालाना आधार पर 25 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज की गई।
- ग्रॉस रेवेन्यू: 19 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ 41,054 करोड़ रुपये रहा।
- EBITDA: 23.9 प्रतिशत की तेजी के साथ 18,135 करोड़ रुपये रहा।
जियो की मौजूदा शेयरधारिता
मौजूदा समय में जियो की शेयरधारिता इस प्रकार है:
- रिलायंस इंडस्ट्रीज: 66.30 प्रतिशत।
- मेटा (Meta): 10 प्रतिशत।
- गूगल (Google): 7.7 प्रतिशत।
- कुछ प्राइवेट निवेशक: 16 प्रतिशत।
यह आईपीओ भारतीय शेयर बाजार और टेलीकॉम सेक्टर दोनों के लिए एक महत्वपूर्ण घटना साबित हो सकता है।
डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सूचनात्मक उद्देश्यों के लिए है और इसे निवेश की सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। शेयर बाजार में निवेश जोखिमों के अधीन है। किसी भी निवेश से पहले, कृपया प्रमाणित वित्तीय विशेषज्ञ की सलाह अवश्य लें।